Tuesday, October 20, 2015

मेरी मईया




भगवती देवी मईया मेरी आली म्यौर घर यौ बार आली अबे सब काम बने जाली म्यर !
कभ्ते काली बनबे आली कभ्ते दुर्गा बन बै आली म्यौर बिगड़ी बने जाली मेरी मईया !

मईया मईया कबे पुकारूँन वैक साथ मि बैठूँन ऊके चुन्नि चढून अपुड़ हाथल मि सजून !
नारियल लै चडून हलु पुरिक चांडक भोग मी लगूँन प्यारल सब अपुड़ हाथल खिलौन !

मईयाक चरण पड़ जाला म्यौर घर में ऊजाउ हैजाल बदल जालि सारि तक़दीर लै मेरि !
माँ बड़ी ममता मय भय वैक काक पे बैठूँन वैक हाल लै पूछूंन अपुंड सुख दुख बतून !

हर पल मईया क ध्यान लगूँन भेंट लै गुन पूज लै करून हँसी ख़ुशी सब कारज करून ! 
मि मईया पै मतवाली बनबे लिपट जून नाम लै जपून तब वैक जरूर कृपा है जाली !

मईया सबै कुछ जाननी हमर बार मैं हमूह नौक के छू भल के छू सब भल बाट बताली !
हे देवी मईया बिनती इदुए छू हमर बिगड़ी सब स्वार दिए अपुंड आशीष सदा धरिए !



दीपा कांडपाल (गरुड़ बैजनाथ)
( सर्वाधिकार सुरक्षित )

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